Jab te mann parteet bhai Lyrics – जब ते मन परतीत भई। टेक
Jab te mann parteet bhai Lyrics : _________________________________________________________________ जब ते मन परतीत भई। टेक तब ते अवगुन छूटन लागे, दिन दिन बाढ़त प्रीति नई। १ सुरति निरति मिलि ज्ञानजौहरी, निरखि परखि निज बस्तु लई। थोड़ी बनिज बहुत ह्वै बाढ़ी, उपजन लागे लाल मई। २ अगम निगम तू खोज निरंतर, सत्त नाम गुरु मूल दई। कहैं कबीर साधु की संगति, हुति विकार सो छूट गई। ३… Read More »Jab te mann parteet bhai Lyrics – जब ते मन परतीत भई। टेक